Jagadguru Satishacharya ji maharaj

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3 months ago
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Description

“बच्चों, सुनो… मन में गन्दे विचार आना, ये कोई आश्चर्य की बात नहीं है। मन का काम ही है सोचना। जैसे आसमान में बादल आते हैं और चले जाते हैं, वैसे ही मन में विचार आते हैं और चले जाते हैं। लेकिन… अगर हम उन विचारों पर ध्यान देना शुरू कर देंगे, तो वही विचार धीरे-धीरे हमारी आदत बन जाएंगे। इसलिए करना क्या है? जैसे ही कोई गन्दा विचार आए, तुरंत भगवान का नाम लो — राम, कृष्ण, शिव — जो भी तुम्हें प्रिय है। दूसरी बात, खाली मत बैठो। मन को पवित्र बनाने के लिए सत्संग सुनो, भजन गाओ, और अच्छे मित्रों का साथ रखो। तीसरी बात, शरीर और खानपान का भी असर पड़ता है। तामसिक भोजन और आलस्य मन को नीचे खींचते हैं। सात्त्विक आहार लो, नियमित दिनचर्या रखो, और मन को ऊँचे विचारों में लगाओ। याद रखना— मन वही सोचता है जिसको हम बार-बार खिलाते हैं। अगर उसे भगवान की कहानियाँ, भजन, गीता के श्लोक खिलाओगे तो गन्दे विचार अपने-आप भाग जाएंगे। तो बच्चो… मन पर नियंत्रण साधना से आता है, और साधना भगवान के नाम से शुरू होती है।”

hi
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जीवन में सुख और शांति पाने के लिए हमें सदा अपने कर्तव्य का पालन करना चाहिए। मनुष्य का धर्म है कि वह अपने परिवार, समाज और देश के प्रति ईमानदार रहे। जब हम अपने कर्म को धर्म समझकर करते हैं, तब जीवन सार्थक बनता है।